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Raigar Community Blog & Articles

         संगठन गढे चलो सुपंथ पर बढे चलों । भला हो जिसमे कोम का वो काम सब करे चलों ।। युग के साथ मिलकर सब कदम मिलाना सिख लों । एकता के स्‍वर के गीत गुन गुनाना सिख लों ।। समाज के विकास के रास्‍ते पर सब साथ चले चलों । संगठन गढे चलो सुपंथ पर चढे चलों ।। भूलकर भी मुख में कभी बैर भाव का नाम ना हों...
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         जल में थल में नील गगन में गुंजेगा जय गान। हमारी रैगर जाति महान्, हमारी रैगर जाति महान् ।। अटल रहेंगे हम जीवन भर, चाहे आये लाख मुसिबत आये । फर्क ना पडेगा हमको, चाहे हम रैगर जाति के लिये मर जाये ।। चूर-चूर कर देंगे हम दुशमन के अरमान । चमकाएंगे हम जाति को देकर निज बलिदान ।। जग मे कायर बनकर हमको नहीं सुहाता है । आज...
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         जीवन में कुछ करना है तो, मन को मारे मत बैठो । आगे आगे बढना है तो, हिम्‍मत हारे मत बैठो ।। चलने वाला मंजिल पाता, बैठा पीछे रह जाता । ठहरा पानी सड जाता, बहता पानी निर्मल हो जाता ।। पॉव दिये चलने के खातिर, पॉव पसारे मत बैठो । आगे बढना है तो, हिम्‍मत हारे मत बैठो ।। तेज दौडने वाला, कुछ देर खडा रह कर भी...
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         जब सांझ ढले, जब दीप जले। रैगर ! मन के सहचर आ जाना। नन्हा तारा जब गगन पले। जब तम रजनी के प्राण छले। तब दुखी समाज को राह दिखाने। गुरु ज्ञान रवि किरण बन आ जाना। युवकों से छिन जब बल बहे। और सामाजिकता मंद-मंद चले। गुरु लक्ष्य सीख प्राण वायु बन जाना। जब सांझ ढले, जब दीप जले। रैगर मन कदम थामे, संभल जाना। अपना तन-मन आंदोलित...
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        हमारी उम्मीदेँ खतम हो जाती जहाँ से ।         रिश्तों में दूरिया बढ़ जाती वहाँ से । रैगर समाज एकता के लिए, हमें एक मंच पर आना होगा । किसी को भी नहीं कह सकते, हमेशा के लिए अलविदा । सामाजिकता की यह नहीं संविदा । रैगर बंधु ! कुछ ऐसा कर जाए । समाज शिक्षित, संगठित बन जाए । मुलाकात के समय हाथ मिलाओ ।         ...
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